Tuesday 27 September 2011

बहती गंगा


मुझे बड़ी उम्र की लड़कियाँ पसंद हैं ...इसलिए तुम्हें प्यार करता हूँ ...|"
तीस वर्षीय युवती से बीस वर्ष के नवयुवक ने कहा |
-लोग क्या कहेंगे ?हमारी जोड़ी देखकर हँसेंगे या नहीं ..|
"मुझे लोगों की परवाह नहीं |"
-दस वर्ष बाद मैं अधेड़ हो जाऊँगी, तो क्या तुम मुझसे विरक्त नहीं हो जाओगे ?
"इतना नीच नहीं हूँ ...फिर प्रेम सिर्फ शरीर से थोड़े होता है ..|शरीर तो माध्यम है आत्मा तक पहुँचने का |"
-तुम इतनी कम उम्र में इतनी बड़ी -बड़ी बातें कैसे कर लेते हो ?
"खबरदार !जो आज के बाद मुझे कम उम्र कहा |मैं बुद्धि से वयस्क हूँ तुमसे |कम उम्र की लड़कियाँ तो मुझे बच्ची लगती हैं |"
-फिर भी मैं उम्र में तुमसे बड़ी तो हूँ ही |
"एक थप्पड़ लगाऊंगा ...|.बच्ची -सी अक्ल और चली हैं बड़ी बनने ..|"
           और दोनों में दोस्ती हो गयी |दोस्ती प्यार में बदली और लड़की सपने देखने लगी |लोगों ने कहा -लड़की चालू है ...लड़के को फंसा लिया |लड़के के दोस्तों ने पूछा -क्यों यार ,बड़े चर्चे हैं तुम्हारे |शादी करोगे क्या उससे ?
लड़का हँसा -'शादी ..!और उस बुढिया से !अरे ,टाईम-पास कर रहा हूँ  |....बहती गंगा है ..हाथ धो रहा हूँ |'

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